उत्तर प्रदेश हिंदी साहित्य सेवा समिति के तत्वावधान में हुआ विराट कवि सम्मेलन का आयोजन
मनीष कांत शर्मा
उसावां- उत्तर प्रदेश हिंदी साहित्य सेवा समिति ने बनबौसारी में श्रीमद् भागवत कथा एवं ज्ञान यज्ञ के उपलक्ष में विराट कवि सम्मेलन का आयोजन कराया। उसावा क्षेत्र में 20 वर्षों के बाद इस विराट कवि सम्मेलन का आयोजन कराया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता उसावा के वरिष्ठ कवि महेश चंद्र मिश्र अग्निमुख ने की। कार्यक्रम का संचालन डॉक्टर उर्मिलेश के प्रिय शिष्य आदेश कुमार सिंह ने किया। कवि सम्मेलन में मुख्य अतिथि के रूप में 41 जिला पंचायत सदस्य अनिल कृष्ण जी व विशिष्ट अतिथि डॉक्टर अजय प्रताप सिंह रहे। कार्यक्रम का संयोजन स्थानीय कवि अमित अंबर ने किया।कार्यक्रम का शुभारंभ मां सरस्वती की बंदना के साथ हुआ। उज्ज्वल वशिष्ठ ने अपने गीत गजलों से समां बांध दिया। बिल्सी से आए कवि विष्णु असावा ने पढ़ा जर्जर काया बूढ़ी माँ की घर में टूटी खटिया परचार चार बेटे हैं फिर भी उसे भरोसा लठिया पर। ओजस्वी जौहरी ने पढ़ा ये आईना भी मुझसे सवाल करता है शक़्ल ओ सूरत पे मेरी मलाल करता है।कवि अचिन मासूम ने पढ़ा बनावट की बुलन्दी पर कभी भी हम नहीं चढ़ते,कभी झूठी कहानी और कथानक हम नहीं गढ़ते,पसेई उझानी से आए कवि विवेक यादव अज्ञानी ने पढ़ा बिन राजा के यार वो रानी कैसी होगी बिना कथानक यार कहानी कैसी होगी कलान शाहजहांपुर से आए कवि पंकज मतलवी ने पढ़ा प्रेम की लेखनी से लिखा जब तुम्हें,दिल की ये डायरी भी तुम्हारी हुई उसावां से आईं कवियत्री रश्मिरथी यादव ने पढ़ा अपने हिस्से की रेत समन्दर में छोड़ते रहेंगेतुम्हारी सोई हुई चेतना यूं ही झिंझोड़ते रहेंगेकार्यक्रम के आयोजक मनोज वर्मा व जयसिंह राजपूत ने सभी कवियों का शाल ओढ़ाकर व रामलला का प्रतीक चिन्ह देकर सम्मानित किया